माओवादी डिप्टी कमांडर अजय ने किया आत्मसमर्पण, छत्तीसगढ़ पुलिस को मिली बड़ी सफलता

छत्तीसगढ़। छत्तीसगढ़ पुलिस के माओवादी उन्मूलन अभियान के तहत एक महत्वपूर्ण सफलता मिली है। रावस समन्वय के डिप्टी कमांडर अजय ने पुलिस अधीक्षक आंजनेय वार्ष्णेय और अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुशील कुमार नायक के सामने आत्मसमर्पण किया। अजय पर 5 लाख रुपये का ईनाम था और वह कई बड़ी घटनाओं में शामिल था, जिनमें हत्याएं, मार्ग अवरुद्ध करना और टिफिन बम गाड़ना शामिल हैं।

अजय ने छत्तीसगढ़ शासन की पुनर्वास एवं आत्मसमर्पण नीति से प्रभावित होकर आत्मसमर्पण किया। उसने कहा कि माओवादियों की खोखली विचारधारा, भेदभावपूर्ण व्यवहार और उपेक्षा से तंग आकर उसने आत्मसमर्पण किया है। अजय ने बताया कि वह 2010 से माओवादी संगठन में था और डिप्टी कमांडर के पद पर था।

अजय के आत्मसमर्पण के कारणों में माओवादियों के द्वारा आदिवासियों पर किये जा रहे अत्याचार भी शामिल हैं। उसने कहा कि माओवादी अपने ही लोगों को प्रताड़ित करते हैं और उन्हें अपने हितों के लिए उपयोग करते हैं।

अजय को उत्साहवर्धन हेतु शासन की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति के तहत 25,000 रुपये की नगद प्रोत्साहन राशि प्रदान की गई है। इसके अलावा, उसे पुनर्वास के लिए आवश्यक सहायता भी प्रदान की जाएगी।

संक्षिप्त विवरण

  • अजय उर्फ अघन उम्र 26 वर्ष कांकेर
  • धारित हथियार- सुरका रायफल स्वनिर्मित • पद- डिप्टी कमांडर / एसीएम सीता नदी एरिया कमेटी
  • शासन व्दारा घोषित ईनाम- 05 लाख रूपये
  • यह संघम सदस्य के पद पर संगठन में भर्ती हुआ।
  • वर्ष 2010 तक बाल संघम सदस्य के पद पर कार्य किया।

इन बड़ी घटनाओं में रहा शामिल :-

  • वर्ष 2017 में थाना खल्लारी ग्राम जोगीबिरदो के 01 ग्रामीण की हत्या में शामिल था।
  • वर्ष 2018 में थाना बोरई ग्राम कारीपानी मुख्य मार्ग में पेड़ काटकर मार्ग अवरुद्ध किया गया था।
  • 2018 थाना खल्लारी ग्राम एकावारी में रोड किनारे 05 किग्रा.टिफिन बम गड़ाया था।
  • वर्ष 2020 में थाना नगरी ग्राम घोरागांव पुलिस-नक्सली मुठभेड़ जिससे गोबरा एलओएस. कमांडर रवि मारा गया था, उसमें शामिल था।
  • वर्ष 2020 थाना मेचका ग्राम उजरावन के एक ग्रामीण की हत्या में शामिल था।
  • वर्ष 2021 भाना खल्लारी ग्राम गादुल‌ बाहरा में एक ग्रामीण की हत्या में शामिल था।
  • 2021 थाना खल्लारी ग्राम आमझर के 01ग्रामीण की हत्या में शामिल था।

अजय का आत्मसमर्पण माओवादी संगठन के लिए एक बड़ा झटका है। पुलिस अधीक्षक आंजनेय वार्ष्णेय ने कहा कि अजय का आत्मसमर्पण माओवादियों के लिए एक संदेश है कि वे भी आत्मसमर्पण कर सकते हैं और सरकार की पुनर्वास नीति का लाभ उठा सकते हैं।

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