गोविंदा चौहान l दुर्ग l घर की दीवार फांद आधी रात किशोरी के कमरे में गलत इरादे से घुसने वाले युवक विशेष न्यायालय ने दोषी करार दिया है। अपर सत्र न्यायाधीश चतुर्थ (एफटीएससी) संगीता नवीन तिवारी की अदालत ने आरोपी सुरेश उर्फ बोटू को 3 साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है।
अभियोजन की ओर से विशेष लोक अभियोजक संतोष कसार ने पैरवी की। उन्होंने बताया कि पिछले साल 14 मार्च थाना सुपेला थाना में पीड़िता के परिजनों ने अपराध दर्ज कराया था। पीड़िता की मां के मुताबिक 8 मार्च की रात वो अपने परिजनों के साथ खाना खाकर रात करीब 11 बजे सोने चले गए। उस दौरान उसकी 16 वर्षीय बेटी दूसरे कमरे में सो रही थी। रात करीब 12 बजे अचानक बेटी के कमरे से चीखने पुकारने की आवाज आई। इस पर परिवार के सभी लोग उसके कमरे की ओर दौड़े। उस दौरान आरोपी सुरेश उर्फ बोटू उसकी बेटी का मुहं दबाकर खड़ा था। उस दौरान उसके पति को देखकर भाग गया। घटना के बाद पीड़िता इतनी सहम गई कि बदनामी के डर से रिपोर्ट दर्ज कराने से इंकार कर दिया। लेकिन परिवार से लेकर 14 मार्च को सुपेला थाने में शिकायत दर्ज करा दी। प्रकरण में पुलिस ने 12 मई को चार्जशीट दाखिल करने के बाद कोर्ट में ट्रायल शुरू हुआ, जहां अभियोजन पक्ष आरोपी सुरेश पर दोष सिद्ध करने में सफल रहा।
