“कांग्रेस का हाथ भ्रष्टाचारियों के साथ” — पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष के रायपुर दौरे पर BJP नेता आलोक पांडेय का बड़ा हमला



रायपुर। राजधानी में कांग्रेस ने अपने हाथों को भ्रष्टाचार के रंग से रंग दिया है। भारतीय जनता पार्टी के नेता आलोक पाण्डेय ने पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष राजा बरार के रायपुर दौरे को लेकर कांग्रेस पर बड़ा राजनीतिक हमला बोला है। उन्होंने आरोप लगाया कि राजा बरार ने अपने दौरे के दौरान उस व्यक्ति से मुलाकात की, जो किसी राजनीतिक दमन का शिकार नहीं, बल्कि शराब घोटाले में आरोपी के रूप में जेल में बंद है। पाण्डेय के अनुसार, यह स्पष्ट संकेत है कि कांग्रेस नेतृत्व आम कार्यकर्ताओं या पीड़ित लोगों के बजाय भ्रष्टाचार में लिप्त व्यक्तियों के साथ खड़ा दिखाई देता है।

आलोक पाण्डेय ने कहा कि राजा बरार के छत्तीसगढ़ पहुंचने पर उम्मीद थी कि वे कांग्रेस के परेशान कार्यकर्ताओं, आंदोलन के कारण जेल गए युवा नेताओं या किसी किसान-श्रमिक परिवार से मुलाकात करेंगे, लेकिन इसके उलट वे सीधे जेल में भूपेश बघेल के पुत्र चैतन्य बघेल से मिलने पहुंचे। पाण्डेय ने सवाल उठाया कि चैतन्य बघेल न तो किसी पद पर हैं और न ही किसी राजनीतिक केस में गिरफ्तार हुए हैं, फिर उनसे मिलने की क्या मजबूरी रही?

उन्होंने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और कार्यकर्ता भी जेल में रहे हैं, लेकिन उनसे मुलाकात करने की ज़रूरत कांग्रेस नेतृत्व को नहीं महसूस हुई। इससे साफ है कि “कांग्रेस का हाथ भ्रष्टाचारियों के साथ” है।

पाण्डेय ने दावा किया कि शराब घोटाला कांग्रेस शासनकाल में फैले व्यवस्थागत भ्रष्टाचार का उदाहरण है, जिसमें कई बड़े नेताओं और व्यापारियों को जेल जाना पड़ा। उनके अनुसार, कांग्रेस शीर्ष नेतृत्व उन लोगों को प्राथमिकता दे रहा है जिन पर गंभीर भ्रष्टाचार के आरोप हैं, जबकि आम कार्यकर्ता उपेक्षित और परेशान हैं।

बिहार चुनाव परिणाम का उल्लेख करते हुए पाण्डेय ने कहा कि भाजपा ने वहां बंपर जीत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भ्रष्टाचार विरोधी नीतियों और विकासवादी राजनीति की वजह से हासिल की है। वहीं कांग्रेस की हार का कारण नेताओं का चुनाव को गंभीरता से न लेना है।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस में काम कर चुके होने के नाते वे जानते हैं कि हार के बाद कार्यकर्ताओं को जनता के बीच कैसी असहजता का सामना करना पड़ता है। राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि कांग्रेस लगातार कमजोर होती जा रही है और हार उसकी वास्तविक पहचान बन चुकी है।

2018 के उदाहरण का जिक्र करते हुए पाण्डेय ने कहा कि छत्तीसगढ़ में जीत का श्रेय लेने वाले कांग्रेस प्रभारी चंदन यादव बिहार में अपनी सीट तक नहीं बचा पाए, जबकि भाजपा के नितिन नवीन ने भारी मतों से जीत दर्ज की।

अंत में पाण्डेय ने कहा कि यदि कांग्रेस ने अपनी नीतियों और कार्यशैली में सुधार नहीं किया, तो उसका भविष्य और अधिक अंधकारमय हो जाएगा। जनता अब भ्रष्टाचार से समझौता नहीं करेगी और ईमानदार, विकासपरक राजनीति को ही समर्थन देगी।

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